महाकुंभ में साध्वी बनेगी 13 वर्षीय राखी
आगरा के दंपत्ति ने अपनी बेटी को जूना अखाड़े को किया दान, राखी का नाम अब 'गौरी' रखा गया
आगरा, उत्तर प्रदेश: महाकुंभ के भव्य आयोजन के बीच एक चौंकाने वाली खबर सामने आई है। आगरा के थाना बमरौली कटारा क्षेत्र के गांव तर्र्कपुर के रहने वाले संदीप सिंह और उनकी पत्नी रीमा ने अपनी 13 वर्षीय बेटी राखी को जूना अखाड़े को दान कर दिया है।
राखी, जो स्प्रिंग फील्ड इंटर कॉलेज में कक्षा नौ की छात्रा है, ने साध्वी बनने की इच्छा जताई थी। माता-पिता के अनुसार, वे पिछले चार साल से गुरु की सेवा में जुड़े हुए हैं और इसी दौरान राखी के मन में भक्ति जागृत हुई।
26 दिसंबर को परिवार ने महाकुंभ मेला क्षेत्र में जाकर गुरु के सान्निध्य में शिविर सेवा में भाग लिया। यहीं पर राखी ने साध्वी बनने की इच्छा व्यक्त की, जिसे पूरा करते हुए कौशल गिरि के माध्यम से उसे शिविर में प्रवेश कराया गया।
गंगा स्नान के बाद, जूना अखाड़े के संत कौशल गिरि ने वैदिक मंत्रोच्चार के बीच राखी को शिविर में प्रवेश कराया और उसका नाम ‘गौरी’ रखा। अब गौरी का पिंडदान 19 जनवरी को शिविर में किया जाएगा, जिसके बाद वह गुरु के परिवार का हिस्सा बन जाएगी और उसका मूल परिवार उससे छूट जाएगा।
राखी के स्कूल के प्रधानाचार्य ने बताया कि वह एक मेधावी छात्रा रही है और पूजा अर्चना में भी बहुत ध्यान देती है। नवरात्रि के दौरान वह बिना जूते-चप्पल के पैदल स्कूल आती थी, जो उसकी आध्यात्मिकता को दर्शाता है।
संत कौशल गिरी ने कहा कि यह सनातन धर्म का प्रचार है और दंपति ने जो निर्णय लिया है, वह हर कोई नहीं कर सकता।
इस अनोखे निर्णय ने समाज में कई सवाल खड़े कर दिए हैं, और यह देखना दिलचस्प होगा कि इस पर लोगों की प्रतिक्रिया क्या होती है।