उत्तराखंड

गढ़वाल के सीमांत विकास को मिलेगी नई दिशा: अनिल बलूनी ने केंद्रीय गृह मंत्री से की मुलाकात

नई दिल्ली। उत्तराखंड के गढ़वाल क्षेत्र से लोकसभा सांसद एवं भाजपा के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी ने केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह से मुलाकात कर चमोली जनपद के सीमांत क्षेत्रों में विकास परियोजनाओं के लिए 543 करोड़ रुपये की मांग की। उन्होंने सीमांत क्षेत्रों में कनेक्टिविटी सुधार, आधारभूत संरचना विकास और अन्य महत्वपूर्ण योजनाओं पर चर्चा की।

गृह मंत्री का आश्वासन: जल्द होगा विकास कार्यों पर निर्णय

गृह मंत्री अमित शाह ने इस मांग को गंभीरता से लेते हुए आश्वस्त किया कि गढ़वाल के सीमांत क्षेत्रों में विकास योजनाओं पर जल्द निर्णय लेकर उन्हें लागू किया जाएगा। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार उत्तराखंड के सीमावर्ती गांवों को सशक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है और इन योजनाओं पर तेजी से काम किया जाएगा।

सीमांत गांवों को “पहले गांव” का दर्जा देने की पहल

सांसद अनिल बलूनी ने इस मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की “वाइब्रेंट विलेज” योजना का जिक्र करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री ने सीमांत गांवों को “देश के पहले गांव” का दर्जा दिया है, जिससे इन इलाकों में विकास को नई दिशा मिली है। उत्तराखंड से प्रधानमंत्री मोदी का विशेष लगाव है और उनकी योजनाओं को धरातल पर उतारना हम सभी की जिम्मेदारी है।

चुनावी वादों को पूरा करने की दिशा में मजबूत कदम

लोकसभा चुनाव के दौरान अनिल बलूनी ने सीमांत क्षेत्रों में विकास को गति देने का वादा किया था। इस सिलसिले में उन्होंने गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात कर विकास योजनाओं की जरूरतों पर विस्तार से चर्चा की। गृह मंत्री ने भी गढ़वाल के विकास को अपनी प्राथमिकता बताते हुए इन योजनाओं को जल्द लागू करने का भरोसा दिया।

अनिल बलूनी का केंद्रीय गृह मंत्री के प्रति आभार

सांसद अनिल बलूनी ने गृह मंत्री अमित शाह का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि उनकी गढ़वाल के सीमांत क्षेत्रों के प्रति चिंता और विकास योजनाओं को हरी झंडी देने की प्रतिबद्धता क्षेत्र के लोगों के लिए एक बड़ी सौगात साबित होगी। इन योजनाओं के अमल में आने से सीमांत इलाकों में कनेक्टिविटी, बुनियादी सुविधाएं और रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे, जिससे पलायन रुकेगा और क्षेत्र का समग्र विकास होगा।

गढ़वाल के सीमांत क्षेत्रों में विकास की नई रफ्तार जल्द देखने को मिलेगी। अनिल बलूनी द्वारा 543 करोड़ की विकास परियोजनाओं की मांग और गृह मंत्री के सकारात्मक रुख से यह साफ है कि उत्तराखंड के सीमांत इलाकों को आत्मनिर्भर और विकसित बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए जा रहे हैं

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