हरिद्वार

कांवड़ मेला 2025: हरिद्वार में कल से शुरू होगा महाकुंभ, 7 करोड़ श्रद्धालुओं की उम्मीद

हरिद्वार:  कल  से कांवड़ मेला 2025 का शुभारंभ होने जा रहा है, जिसके लिए जिला प्रशासन और पुलिस प्रशासन ने व्यापक तैयारियां पूरी कर ली हैं। कांवड़ यात्रा के निर्विघ्न संपन्न होने की कामना से श्री गंगा सभा के पदाधिकारियों एवं प्रशासन के अधिकारियों द्वारा हर की पैड़ी पर दिनांक 11 जुलाई को प्रातः 10 बजे मां गंगा का पूजन कर आशीर्वाद लिया जाएगा।

इस वर्ष कांवड़ मेले में 2024 के 4.5 करोड़ की तुलना में 7 करोड़ से भी अधिक श्रद्धालुओं के आने की उम्मीद है, जिसे देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत बनाया गया है। मेले की त्रिस्तरीय सुरक्षा व्यवस्था के तहत पूरे मेला क्षेत्र को 16 सुपर जोन, 38 जोन और 134 सेक्टरों में विभाजित किया गया है। यह संख्या पिछले वर्षों से काफी बढ़ाई गई है, जहां 2023 में 12 सुपर जोन, 32 जोन और 119 सेक्टर थे, वहीं 2024 में 13 सुपर जोन, 33 जोन और 125 सेक्टर बनाए गए थे।

सुरक्षा व्यवस्था को लेकर जिला अधिकारी मयूर दीक्षित और एसएसपी प्रमेंद्र डोबाल ने बताया कि इस वर्ष 2,981 पुलिसकर्मी तैनात रहेंगे, जो पिछले साल के 2,444 की तुलना में काफी अधिक है। सुरक्षा बलों में इंस्पेक्टर, दारोगा, आरक्षी, महिला आरक्षी जवान शामिल हैं। इसके अतिरिक्त मेला क्षेत्र में पीएसी की 15 कंपनी, जल बचाव दल की 1 कंपनी, और 18 कंपनी केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की टुकड़ियां भी तैनात हैं।

आधुनिक तकनीक का उपयोग करते हुए  ड्रोन से मेला क्षेत्र पर निगरानी रखी जाएगी और पूरे क्षेत्र में सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। मेले में आतंकवादी घटनाओं से बचने के लिए 2 विशेष क्विक एक्शन टीमें भी तैनात की गई हैं। हुड़दंगियों पर नकेल कसने के लिए बेसबॉल बैट, हॉकी और त्रिशूल जैसी धारधार वस्तुओं को बेचने पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया है।

कांवड़ियों की सुविधा के लिए हर की पैड़ी, बैरागी कैंप, कांवड़ पटरी और कांवड़ बाजार में पीने के पानी की टंकियां, शौचालय और पथ प्रकाश की व्यवस्था के साथ-साथ सफाई व्यवस्था के लिए नगर निगम की टीमें तैनात कर दी गई हैं। गुरु पूर्णिमा के दिन होने वाली पुलिस ब्रीफिंग के बाद पूरी पुलिस बल को उनकी निर्धारित जगहों पर तैनात कर दिया जाएगा।

यह मेला न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है बल्कि हरिद्वार के लिए एक महत्वपूर्ण आर्थिक गतिविधि भी है। प्रशासन का मुख्य उद्देश्य सभी श्रद्धालुओं को सुरक्षित और व्यवस्थित तरीके से मां गंगा के दर्शन कराना है। इस वर्ष की बढ़ी हुई सुरक्षा व्यवस्था और आधुनिक तकनीक के उपयोग से मेला प्रशासन को उम्मीद है कि यह कांवड़ मेला पूर्णतः सफल और शांतिपूर्ण रूप से संपन्न होगा।

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