
देहरादून: उत्तराखंड के औद्योगिक क्षेत्रों में पर्यावरणीय मानकों की अनदेखी सामने आई है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) ने राज्य के हरिद्वार, पंतनगर और सितारगंज सिडकुल क्षेत्रों में प्रदूषण नियंत्रण मानकों के उल्लंघन को गंभीरता से लेते हुए उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (UKPCB) को तत्काल सख्त कार्रवाई के निर्देश जारी किए हैं।
CETP प्लांट्स पर नियमों के उल्लंघन का आरोप
केंद्रीय बोर्ड की टीम ने हाल ही में इन औद्योगिक क्षेत्रों का निरीक्षण किया, जिसमें पाया गया कि कॉमन इफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट्स (CETP) निर्धारित प्रदूषण मानकों का पालन नहीं कर रहे हैं। निरीक्षण के दौरान जैविक ऑक्सीजन मांग (BOD), रासायनिक ऑक्सीजन मांग (COD) और भारी धातुओं की मात्रा में गंभीर अनियमितताएं दर्ज की गईं।
पर्यावरणीय क्षति की वसूली के आदेश
CPCB ने राज्य बोर्ड को निर्देशित किया है कि जिन औद्योगिक इकाइयों और संचालक कंपनियों की लापरवाही सामने आई है, उनसे पर्यावरणीय क्षति की वसूली (Environmental Damage Recovery) सुनिश्चित की जाए। साथ ही, नियमों का पालन न करने वाली इकाइयों के खिलाफ आवश्यक कानूनी कार्रवाई करने के निर्देश भी दिए गए हैं।
राज्य बोर्ड ने शुरू की जांच
उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है। प्रारंभिक रिपोर्ट के आधार पर संबंधित औद्योगिक इकाइयों से जवाब-तलब किया जा रहा है। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि दोषी पाए जाने वाली इकाइयों के खिलाफ न केवल जुर्माना लगाया जाएगा बल्कि उनके संचालन लाइसेंस भी निलंबित या रद्द किए जा सकते हैं।
प्रदूषण नियंत्रण पर सरकार का कड़ा रुख
राज्य सरकार ने भी स्पष्ट किया है कि औद्योगिक विकास पर्यावरण संरक्षण के साथ ही संभव है। इसलिए किसी भी औद्योगिक इकाई को प्रदूषण फैलाने की अनुमति नहीं दी जाएगी। अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि नियमित रूप से सैंपलिंग और निगरानी की जाए ताकि पर्यावरणीय मानकों का पालन सुनिश्चित हो सके।